दिल्ली में वाहन चलाने वालों को परिवहन विभाग ने एक बार फिर चेतावनी दी है कि वाहन चलाते समय प्रदूषण नियंत्रण प्रमाणपत्र (पीयूसीसी) साथ लेकर चलें, जिससे जांच के दौरान परेशानी से बचा जा सकेगा। दरअसल, परिवहन विभाग इसे लेकर बड़ा अभियान चलाने जा रहा है। इसमें बगैर पीयूसीसी पकड़े जाने पर 10 हजार का जुर्माना, छह माह तक की सजा हो सकती है। इसके अलावा चालान और सजा दोनों भी हो सकते हैं। इस मामले में तीन माह तक के लिए ड्राइविंग लाइसेंस भी निरस्त करने का प्रविधान है।

Delhi Police Gurugram Police पूरे दिल्ली में 55 टीम तैनात, Dl भी रद्द करने का आदेश, फिर से 10 हज़ार का चालान हुआ चालू

अक्टूबर से बढ़ जाता है दिल्ली में प्रदूषण

दिल्ली में अक्टूबर से प्रदूषण बढ़ने लगता है। दिल्ली सरकार प्रदूषण नियंत्रण करने के लिए सभी तरह के कदम उठा रही है। इसी के तहत पीयूसीसी के मामले में भी सख्ती की जा रही है। मुख्य सचिव विजय देव ने गत दिनों इस मामले में विभाग को निर्देश दिए थे। उसके बाद से परिवहन विभाग सख्ती बरत रहा है। कुछ दिन पहले परिवहन विभाग से सार्वजनिक सूचना जारी कर वाहन चालकों को चेतावनी दी थी कि बगैर पीयूसीसी वालों के खिलाफ कार्रवाई होगी। कुछ समय के अंतराल में अब दूसरी बार यह चेतावनी आई है। विभागीय जानकारों का कहना है सड़कों पर खड़ी होने वाली प्रवर्तन टीमों ने भी जांच शुरू कर दी है। दिल्ली में 973 स्थानों पर प्रदूषण की जांच कर प्रमाण पत्र लिया जा सकता है। इसमें लगभग सभी पेट्रोल पंप भी शामिल हैं।

15 साल पुराने डीजल वाहनों को जब्त करने के लिए बनाईं 55 टीमें

15 साल पुराने डीजल वाहनों को जब्त करने के लिए परिवहन विभाग ने 55 टीमें बनाई हैं। हालांकि, अभी अभियान जोर नहीं पकड़ सका है। माना जा रहा है कि अगले सप्ताह से टीमें सक्रियता बढ़ाएंगी। जिसके तहत विभाग की टीमें 15 साल से अधिक पुराने डीजल वाहनों को गली मोहल्ले में भी खड़े मिलने पर भी जब्त कर लेंगी। बताया जा रहा है कि ऐसे वाहनों की संख्या डेढ़ लाख के करीब हो सकती है।

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