दिल्ली-यूपी बॉर्डर और दिल्ली-हरियाणा बॉर्डर पर किसानों का प्रदर्शन लगातार 39 वे दिन जारी है। कड़ाके की सर्दी और बारिश के बीच किसानों का प्रदर्शन रविवार को जारी है। एक प्रदर्शनकारी ने कहा कि हम अपने परिवार से दूर है और खराब मौसम में सड़कों पर रह रहे हैं। हमें उम्मीद है कि सरकार कल हमारी मांगों को सुनेगी। वहीं, चार जनवरी को प्रस्तावित वार्ता से पहले संयुक्त किसान मोर्चा ने केंद्र सरकार पर  दबाव बढ़ाने की कोशिश की है। चेताया कि सरकार उनकी मांगें नहीं मानती है तो वे लोहड़ी/ संक्रांति पर 13 जनवरी को देशभर में तीनों कानूनों की होली जलाएंगे। तो वही  26 जनवरी के दिन दिल्ली में ट्रैक्टर के साथ अपनी अलग किसान गणतंत्र परेड’निकालेंगे। 26 जनवरी  दिल्ली के के दिन बार्डर पर उनके धरने के दो माह पुरे हो जाएंगे।

वहीं सोनीपत के कुंडली बार्डर पर धरने में एक और किसान की मौत हो गई है। मृतक कुलबीर सिंह गोहाना के गंगाना गांव का रहने वाले थे। 50 वर्षीय कुलबीर की कुंडली बार्डर पर पारकर माल के नजदीक आंदोलन में मौत हो गइ। मौत का कारण अभी नही पता चल पाया है, पोस्टमार्टम के लिए शव अस्पताल भिजवा दिया गया है। इससे पहले भी गोहाना के गांव बरोदा के किसान की  मौत हो चुकी है।

कुंडली बार्डर पर चल रहे किसान आंदोलन का फायदा अब कुछ असामाजिक तत्व भी उठाने की कोशिश कर रहे हैं। आंदोलन की आड़ में खालिस्तान आंदोलन के अगुवा जरनैल सिंह भिंडरावाले के पोस्टर लहराए जा रहे हैं। मुख्य मंच से करीब डेढ़-दो किलोमीटर पीछे पंजाब से आए ट्रैक्टर के पीछे भिंडरावाले का फोटो लगा हुआ देखा जा सकता है, तो इसी के आसपास में कुछ युवा भी हाथों में पोस्टर लेकर किसानों के समर्थन में प्रदर्शन करते देखे जा सकते हैं। यहीं पर टेंटों में भी लगे कुछ बैनर पर भिंडरावाले का फोटो लगाया गया है।

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